जैसलमेर। नेता बनने की चाह ने भेजा जेल, सरपंच बनने के लिए लगाए फर्जी दस्तावेज
जैसलमेर। पंचायतीराज चुनावों से सबसे पहले भाजपा सरकार ने शैक्षणिक योग्यता अनिवार्य कर दी तो भी ग्राम पंचायत बोडाना का मुखिया बनने की चाह पूर्ण करने लिए 70 वर्षीय कानाराम बिश्नोई ने ग्राम पंचायत बोडाना के सरपंच पद का चुनाव लड़ा। जिसका परिणाम विपरित आया और हार का मुंह देखना पड़ा। सरपंच पद की विजयी हासिल होने के बाद बदला लेने और नियमों की अनदेखी कर फर्जी दस्तावेज लगाकर सरपंच चुनाव लड़ने के हार का मुंह देने के बाद थाने में मामला दर्ज करवा दिया।
मामला जैसलमेर में पोकरण की ग्राम पंचायत बोडाना का है। जहां सरपंच बनने की चाह में फर्जी दस्तावेज लगाकर चुनाव में खड़े हुए 70 वर्षीय कानाराम बिश्नोई चुनाव तो हारे ही उस पर फर्जीवाड़ा करने के जुर्म में जेल भी जाना पड़ा। मामला 11 नोख थाने में मामला दर्ज हो गया जिसकी जांच पूर्ण होने पर दस्तावेज फर्जी पाए गए। नोख थाना पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर मंगलवार को कोर्ट में पेश किया जहां से जेल भेज दिया गया।
जैसलमेर। पंचायतीराज चुनावों से सबसे पहले भाजपा सरकार ने शैक्षणिक योग्यता अनिवार्य कर दी तो भी ग्राम पंचायत बोडाना का मुखिया बनने की चाह पूर्ण करने लिए 70 वर्षीय कानाराम बिश्नोई ने ग्राम पंचायत बोडाना के सरपंच पद का चुनाव लड़ा। जिसका परिणाम विपरित आया और हार का मुंह देखना पड़ा। सरपंच पद की विजयी हासिल होने के बाद बदला लेने और नियमों की अनदेखी कर फर्जी दस्तावेज लगाकर सरपंच चुनाव लड़ने के हार का मुंह देने के बाद थाने में मामला दर्ज करवा दिया।
मामला जैसलमेर में पोकरण की ग्राम पंचायत बोडाना का है। जहां सरपंच बनने की चाह में फर्जी दस्तावेज लगाकर चुनाव में खड़े हुए 70 वर्षीय कानाराम बिश्नोई चुनाव तो हारे ही उस पर फर्जीवाड़ा करने के जुर्म में जेल भी जाना पड़ा। मामला 11 नोख थाने में मामला दर्ज हो गया जिसकी जांच पूर्ण होने पर दस्तावेज फर्जी पाए गए। नोख थाना पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर मंगलवार को कोर्ट में पेश किया जहां से जेल भेज दिया गया।
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