मुंबई
2002 हिट एंड रन मामले में फिल्म अभिनेता सलमान खान को आखिरकार बॉन्ड भरने के बाद सेशंस कोर्ट से जमानत मिल ही गई।
अब सलमान खान की जुम्मे की रात सुकून से अपने घर में गुजरेगी। उन्होंने कोर्ट पहुंचने के बाद सभी जरूरी कागजी कार्रवाई पूरी की।
उन्होंने सबसे पहले कोर्ट के सामने सरेंडर किया और फिर 30 हजार रुपये का बॉन्ड भरने के बाद उन्हें जमानत मिल गई।
आपको बता दें कि आज सलमान की अंतरिम जमानत की अवधि समाप्त हो रही थी, इसलिए उन्हें नया बेल बॉन्ड भरना पड़ा। बॉम्बे हाईकोर्ट के जस्टिस थिप्से ने सलमान खान की पांच साल की सजा पर भी रोक लगा दी है, जो सेशंस कोर्ट ने दी थी। मामले की अगली सुनवाई 15 जून को होगी।
हिट एंड रन मामले में सुनवाई करते हुए बांबे हाईकोर्ट ने सलमान खान की सजा पर रोक लगाते हुए उन्हें जमानत दे दी है। सलमान खान को जमानत मुंबई सेशन कोर्ट में सरेंडर करने के बाद मिली।
मुंबई सेशंस कोर्ट ने कई बिंदुओं को किया नजरअंदाज
जमानत याचिका पर सुनवाई कर रहे जस्टिस अभय थिप्से ने केस की ब्रीफिंग मांगी है। सलमान की जमानत पर अपना पक्ष रखते हुए उनके वकील अमित देसाई ने कोर्ट में कहा कि मुंबई सेशंस कोर्ट ने कई बिंदुओं को नजरअंदाज किया है। उन्होंने कहा कि अशोक सिंह की गवाही को नजरअंदाज किया गया।
घटना के समय 4 लोग थे गाड़ी में मौजूद
देसाई ने कहा कि घटना के समय कार में 4 लोग थे। गाड़ी में मौजूद सभी लोग चश्मदीद गवाह थे, फिर भी उनका बयान नहीं लिया गया। कमाल खान से पूछताछ नहीं की गई।
सलमान के कार चलाने के कोई सुबूत नहीं
जस्टिस थिप्से के सामने दलील पेश करते हुए सलमान के वकील अमित देसाई ने कहा कि केस के एकमात्र चश्मदीद रवींद्र पाटिल की मौत हो चुकी है। सलमान कार चला रहे थे इसके कोई सुबूत नहीं है। देसाई ने सजा को सस्पेंड करने की मांग की है। उन्होंने कहा कि यह मामला 304(2) का मामला नहीं है बल्कि 304(1) का मामला है।
रवींद्र पाटिल नहीं देना चाहता था गवाही
सलमान के वकील ने कहा कि रवींद्र पाटिल गवाही नहीं देना चाहता था। पाटिल ने कहा था कि कार का टायर फट गया था। कोर्ट ने चश्मदीद रवींद्र पाटिल का बयान मांगा है हालांकि टायर फटने की दलील को खारिज कर दिया।
गौरतलब है कि यह सुनवाई सलमान के लिए महत्वपूर्ण है क्योंकि शुक्रवार का दिन न्यायालय का ग्रीष्मकालीन अवकाश शुरू होने से पहले न्यायालय का अंतिम कार्यदिवस है। न्यायालय का ग्रीष्मकालीन अवकाश आठ जून तक चलेगा।
सितंबर 2002 के बांद्रा के 'हिट एंड रन' मामले में बुधवार को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश डी.डब्ल्यू देशपांडे ने सलमान को दोषी ठहराते हुए उन्हें पांच साल की सजा सुनाई थी। सजा सुनने के तुरंत बाद सलमान ने बांबे उच्च न्यायालय का रुख किया, जहां थिप्से ने चिकित्सक व अन्य आधार पर दो दिन की अंतरिम जमानत दे दी थी।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें