मंगलवार, 28 अप्रैल 2015

जोधपुर नायब तहसीलदार पर चलेगा एसीबी का मुकदमा



जोधपुर नायब तहसीलदार पर चलेगा एसीबी का मुकदमा
acb case run against naib tehsildar

राजस्थान उच्च न्यायालय ने कृषि भूमि की रजिस्ट्री करने के बदले पांच हजार रुपए की रिश्वत मांगने के मामले में भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम के तहत दर्ज एफआईआर को र² करने से इनकार करते हुए नायब तहसीलदार मोहनलाल द्वारा दायर फौजदारी याचिका खारिज कर दी है।

न्यायाधीश विजय बिश्नोई ने याचिका खारिज करते हुए कहा कि एसीबी द्वारा परिवादी नानूराम की लिखित शिकायत पर दर्ज रिपोर्ट तथा परिवादी व आरोपियों के बीच रिकॉर्ड की गई वार्ता से प्रथम दृष्टया भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम की धारा 7 व 8 तथा भारतीय दण्ड संहिता की धारा 120-बी का मामला बनना पाया जाता है। इसके साथ ही उच्च न्यायालय ने प्रार्थी को अनुसंधान अधिकारी को घटना के सम्बन्ध में प्रतिवेदन देने की छूट देते हुए कहा कि जांच अधिकारी उसकी निष्पक्ष जांच कर लेगा।



राज्य सरकार की ओर से राजकीय अधिवक्ता विक्रमसिंह राजपुरोहित ने कहा कि परिवादी नानूराम ने अपनी कृषि भूमि की रजिस्ट्री के लिए उप तहसील गच्छीपुरा में रजिस्ट्री पेश की थी। उप तहसील के अर्जी निवेश नरसीराम गोदारा ने जरिए नायब तहसीलदार व उसके रीडर ने कमिशन व खर्चे के आठ हजार रुपए मांगे। एसीबी ने सत्यापन के लिए जांच कराई तो पांच हजार रुपए की रिश्वत मांगने की पुष्टि हुई, लेकिन ट्रेप प्रक्रिया से पूर्व ही परिवादी को बुलाकर चार हजार रुपए नायब तहसीलदार ने लेकर रजिस्ट्री दे दी।

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