बुधवार, 19 नवंबर 2014

"छोटे चुनाव" में बड़ी खींचतान

जोधपुर। कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष सचिन पायलट ने कहा कि कांगे्रस ने चुनाव हारे हैं, हिम्मत नहीं हारी। उप चुनाव के बाद पार्टी फिर से नई ऊर्जा के साथ उभरी है और पार्टी के पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं का मनोबल बढ़ा है।

जोधपुर नगर निगम चुनाव में कांग्रेस उम्मीदवारों के पक्ष में मंगलवार सुबह घंटाघर में आयोजित चुनावी सभा में उन्होंने कहा कि पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने जनता को सीधे अपना महापौर चुनने का अधिकार दिया था, लेकिन इस राज्य सरकार ने यह अधिकार छीन लिया।
pulls up in small election

मैंने मुख्यमंत्री को पत्र लिख कर पूछा कि उन्होंने जनता से सीधे महापौर चुनने का अधिकार क्यों छीना? हकीकत यह है कि जोड़तोड़ से किसी तरह उनका बोर्ड बन सके, इसलिए भाजपा ने ऎसा किया है। बोले, मुझे एक पुराना फिल्मी गाना याद आता है कि यह पब्लिक है, सब जानती है। पायलट ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि निकाय चुनाव में उप चुनाव जैसे परिणाम दोहराए जाएंगे।

सोनिया की खातिर एकता की दुहाई
उन्होंने सभा में कांग्रेसियों से कहा कि उन्हें कांग्रेस आलाकमान सोनिया गांधी की खातिर एकजुट होना होगा। मुझे गर्व है कि पार्टी ने 40 प्रतिशत टिकट 40 से कम आयु के युवाओं को दिए। टिकट वितरण से पहले पर्यवेक्षकों से भी यही कहा कि युवाओं पर दांव खेलो। अगर मैं अपने रहते नौजवानों को टिकट नहीं दूंगा तो फिर क्या मतलब?

सचिन पायलट बोले...

राज्य सरकार के लिए

राज्य सरकार ने एक साल में अपने वादे पूरे करना तो दूर, पूरे करने की कोशिश तक नहीं की। मंत्रीमंडल की बैठक में मंत्रियों को अपने कामकाज बताने थे, बैठक चार घंटे तक चली, मंत्री काम नहीं बता सके। एक मंत्री कहते हैं "प्रदेश की पूरी शिक्षा प्रणाली खराब है,सारे शिक्षक चोर हैं।"अगर प्रदेश के मंत्री ऎसे गैर जिम्मेदाराना बयान देंगे तो कैसे चलेगा?

भाजपा के लिए
भाजपा कहती है, गरीबों और बुजुगोंü को पेंशन क्यों? मुफ्त दवा क्यों? किसानों का कर्ज माफ क्यों? कल भाजपा के एक बडे नेता-मंत्री मुझे चुनौती दे रहे थे। मैं उनसे पूछता हूं कि 3-3 मंत्री, 5-5 सांसद चुनाव में थे, फिर भाजपा उप चुनाव कैसे हारी? पार्टी ने पांच महीने में ही जनता का विश्वास कैसे खो दिया था?

गहलोत के लिए
अशोक गहलोत ने अपने कार्यकाल में सबके लिए काम किए। रिफाइनरी, मेट्रो जैसी महत्वपूर्ण योजनाएं दीं। जोधपुर के विकास में कोई कमी नहीं रखी। मुख्यमंत्री योजना के तहत इन्सानों ही नहीं, जानवरों की स्वास्थ्य जांच भी मुफ्त की।

जोधपुर के लिए
जोधपुर संभाग कांग्रेस का गढ़ है। यहां कांग्रेस की जड़ें हमेशा से मजबूत रही हैं।

मटकी ठोक-बजाके, तो पार्षद क्यों नहीं
जोधपुर। गृहमंत्री गुलाबचंद कटारिया ने कहा कि वे कभी नहीं कहते कि वोट हमें दो या उन्हें। जब 25 रूपए की एक मटकी खरीदने जाते हैं तो उसे चार बार ऊपर-नीचे ठोक-बजाके देखते हैं, लेकिन भविष्य निर्माता के बारे में चार बार क्यों नहीं सोचते?

कटारिया ने मंगलवार शाम यहां वार्ड 59 के प्रत्याशी प्रसन्नचंद मेहता के समर्थन में महामंदिर तीसरी पोल के बाहर स्थित शक्ति नगर में चुनावी सभा को सम्बोधित करते हुए कहा कि भाजपा ने सही ढंग से शासन नहीं किया तो पांच साल बाद जनता ही रगड़ देगी।

बोले, भगवान के लिए न मुझ पर रहम करो और ना ही मेरी पार्टी पर। लेकिन इस मुल्क पर रहम करो-रहम करो..। सभा में कई वार्डो के प्रत्याशी और पार्टी पदाधिकारी उपस्थित थे।

"हां, कभी कभार मैं हल्केपन पर उतर आता हूं"

कटारिया ने कहा-हां,मैं स्वीकार करता हूं कि बोलते समय मैं कभी-कभी हल्केपन पर उतर आता हूं, लेकिन मेरे मन में सामने वाले के बारे में कोई दुर्भावना नहीं होती।

गुलाबचंद कटारिया बोले.
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राज्य सरकार के लिए
करीब आधे घंटे का भाषण। राज्य सरकार व मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे के बारे में कोई खास शब्द नहीं। पूरा भाषण प्रधानमंत्री मोदी पर ही फोकस रहा। कटारिया ने कहा पेट्रोल, सोने व चांदी के दाम नीचे गिरे, क्या ये अच्छे दिन नहीं हैं? हमने दीपावली घर मनाई लेकिन मोदी ने मुल्क के सिपाहियों के साथ मनाई। प्रधानमंत्री जब जापान गए तो कोई गिफ्ट नहीं बल्कि गीता भेंट की।

कांग्रेस के लिए
कांग्रेस ने देश की दुर्गति की। आज जनता ने ही कांग्रेस की ऎसी दुर्गति की है कि उसे विपक्ष में बैठने के लिए सहयोग लेना पड़ रहा है। कांग्रेस को चुनौती देता हूं कि वे प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के खिलाफ एक धब्बा तक बता दें।

गहलोत के बारे में
मैंने पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की मुफ्त दवा योजना की तारीफ की थी। कारण, गरीब ही जानता है कि उसे दवा खरीदने में कितना खर्च करना पडता है। लेकिन दुर्भाग्य से सरकार फर्जी दवाइयां लाई। जिसका कोई असर ही नहीं पड़ा। मुफ्त में सामान बांटा तो जनता ने ठेंगा दिखा दिया।

जोधपुर के बारे में
15 साल तक जोधपुर निगम में कांग्रेस का शासन होने के बाद हालत देखकर दया आती है। केन्द्र, राज्य व निगम में कांग्रेस का शासन फिर भी ये हालात? - 

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