शुक्रवार, 3 अक्टूबर 2014

संघ प्रमुख भागवत का भाषण दूरदर्शन पर दिखाने पर विवाद



आरएसएस के सरसंघचालक मोहन भागवत के विजयादशमी संबोधन को राष्ट्रीय प्रसारक दूरदर्शन पर प्रसारित किए जाने पर विवाद हो गया है। कांग्रेस और वामपंथी दलों ने दूरदर्शन पर भाषण के सीधे प्रसारण के निर्णय की निंदा करते हुए मोदी सरकार पर राष्ट्रीय प्रसारक का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया है। उधर, दूरदर्शन ने इस पर सफाई देते हुए कहा कि इसे अन्य समाचार कार्यक्रमों की तरह ही प्रसारित किया गया और इसके लिए कोई खास इंतजाम नहीं किया गया था। सूचना प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने दूरदर्शन पर भागवत के भाषण को दिखाए जाने को सही ठहराया। उन्होंने कहा कि न्यूज वाली चीजों का दूरदर्शन पर प्रसारण किया जाता रहेगा।





दूरदर्शन की महानिदेशक (समाचार) अर्चना दत्त ने कहा, 'यह हमारे लिए महज किसी अन्य समाचार से जुड़े कार्यक्रम की तरह ही था, इसलिए हमने इसे कवर किया।' दत्त ने कहा कि इस समारोह के लिए कोई विशेष व्यवस्था नहीं की गई थी और राज्य में चुनाव को कवर करने के लिए उपयोग किए जा रहे कई डिजिटल सैटलाइट न्यूज गैदरिंग वैन (डीएसएनजी) में से एक का उपयोग इस समारोह के लिए किया गया।कांग्रेस के प्रवक्ता संदीप दीक्षित ने दूरदर्शन पर भागवत का एक घंटा लंबा भाषण लाइव दिखाने को खतरनाक परंपरा की शुरुआत करार दिय। दूसरी तरफ सीपीएम पोलित ब्यूरो ने एक बयान में कहा, 'आरएसएस इस अवसर का इस्तेमाल अपनी हिन्दुत्व की विचारधारा को फैलाने के लिए करती है। राष्ट्रीय सार्वजनिक प्रसारक को आरएसएस जैसे संगठन के प्रमुख के भाषण को सीधा प्रसारित नहीं करना चाहिए था।'
पार्टी ने दूरदर्शन के निर्णय की निंदा करते हुए कहा कि इस तरह की कार्रवाई जाहिर करती है कि मोदी सरकार द्वारा सार्वजनिक प्रसारक का किस तरह दुरुपयोग किया जा रहा है। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी ने भी भागवत के भाषण को सीधा प्रसारित किए जाने की निंदा की और कहा कि यह सरकारी प्रसारक का दुरुपयोग है। वहीं समाजवादी पार्टी ने इस पर कहा कि दूरदर्शन पर राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ का भाषण दिखाया जाना खतरनाक प्रवृत्ति है। पार्टी ने कहा कि इस पूरे मामले की जांच की मांग की है।

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