जोधपुर। एएनएम भंवरी देवी अपहरण व हत्या मामले की सुनवाई भी अब रोजाना होगी। राजस्थान हाईकोर्ट ने अनुसूचित जाति-जनजाति मामलों की विशेष अदालत को प्रकरण नियमित सुनवाई करने के आदेश दिए हैं।
दरअसल, न्यायाधीश निर्मलजीत कौर की अदालत में बुधवार को भंवरी मामले में आरोपी अशोक की जमानत याचिका पर सुनवाई पूरी होने के बाद अदालत ने जमानत देने से इनकार किया तो वरिष्ठ अधिवक्ता जगमालसिंह चौधरी व नीलकमल बोहरा ने अदालत में कहा कि इस प्रकरण में आरोपी दो वर्ष से अधिक समय से जेल में हैं और अभी तक ट्रायल शुरू नहीं हुई है।
सीबीआई की ओर से वरिष्ठ लोक अभियोजक एजाज खान, एस.एस. यादव व विशिष्ट लोक अभियोजक अशोक जोशी ने कहा कि ट्रायल सीबीआई के कारण लम्बी नहीं खिंच रही है। उन्होंने भी स्पीडी ट्रायल के लिए अदालत में सहमति दी। इस पर हाईकोर्ट ने अनुसूचित जाति-जनजाति मामलों की विशेष अदालत को स्पीडी ट्रायल के लिए प्रकरण की नियमित सुनवाई करने के निर्देश दिए।
दो साल से जेल में हैं महिपाल-मलखान
भंवरी देवी के अपहरण व हत्या की घटना 1 सितम्बर 2011 की है। दिसम्बर-2011 और जनवरी-2012 में पूर्व मंत्री महिपाल मदेरणा व पूर्व विधायक मलखानसिंह विश्नोई सहित अन्य आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था। तब से यह सभी आरोपी जेल में बंद हैं।
10 अक्टूबर 2012 को दो आरोपी परसराम व ओमप्रकाश को अपहरण व हत्या के आरोप से अदालत ने मुक्त किया तो सीबीआई से निगरानी याचिका हाईकोर्ट में दायर की। वहीं अन्य आरोपियों ने भी अपने खिलाफ तय आरोपों को हाईकोर्ट में चुनौती दी।
जिसके कारण निचली अदालत में ट्रायल शुरू नहीं हो पाई। अब हाईकोर्ट ने निगरानी याचिकाएं निस्तारित की है। परसराम व ओमप्रकाश के अदालत में उपस्थित होने पर सुनवाई आगे बढ़ेगी। -
दरअसल, न्यायाधीश निर्मलजीत कौर की अदालत में बुधवार को भंवरी मामले में आरोपी अशोक की जमानत याचिका पर सुनवाई पूरी होने के बाद अदालत ने जमानत देने से इनकार किया तो वरिष्ठ अधिवक्ता जगमालसिंह चौधरी व नीलकमल बोहरा ने अदालत में कहा कि इस प्रकरण में आरोपी दो वर्ष से अधिक समय से जेल में हैं और अभी तक ट्रायल शुरू नहीं हुई है।
सीबीआई की ओर से वरिष्ठ लोक अभियोजक एजाज खान, एस.एस. यादव व विशिष्ट लोक अभियोजक अशोक जोशी ने कहा कि ट्रायल सीबीआई के कारण लम्बी नहीं खिंच रही है। उन्होंने भी स्पीडी ट्रायल के लिए अदालत में सहमति दी। इस पर हाईकोर्ट ने अनुसूचित जाति-जनजाति मामलों की विशेष अदालत को स्पीडी ट्रायल के लिए प्रकरण की नियमित सुनवाई करने के निर्देश दिए।
दो साल से जेल में हैं महिपाल-मलखान
भंवरी देवी के अपहरण व हत्या की घटना 1 सितम्बर 2011 की है। दिसम्बर-2011 और जनवरी-2012 में पूर्व मंत्री महिपाल मदेरणा व पूर्व विधायक मलखानसिंह विश्नोई सहित अन्य आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था। तब से यह सभी आरोपी जेल में बंद हैं।
10 अक्टूबर 2012 को दो आरोपी परसराम व ओमप्रकाश को अपहरण व हत्या के आरोप से अदालत ने मुक्त किया तो सीबीआई से निगरानी याचिका हाईकोर्ट में दायर की। वहीं अन्य आरोपियों ने भी अपने खिलाफ तय आरोपों को हाईकोर्ट में चुनौती दी।
जिसके कारण निचली अदालत में ट्रायल शुरू नहीं हो पाई। अब हाईकोर्ट ने निगरानी याचिकाएं निस्तारित की है। परसराम व ओमप्रकाश के अदालत में उपस्थित होने पर सुनवाई आगे बढ़ेगी। -
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें