भोपाल। लोकसभा चुनाव की सभी दलों की जोरदार तैयारियों के बीच मध्यप्रदेश के भिंड (अजा) संसदीय क्षेत्र से कांग्रेस की ओर से प्रत्याशी घोषित किए जाने के एक दिन बाद भारतीय प्रशासनिक सेवा के पूर्व अधिकारी डॉ. भागीरथ प्रसाद ने कांग्रेस को करारा झटका देते हुए रविवार को बीजेपी का दामन थामन लिया।
कांग्रेस नेता डॉ. प्रसाद ने यहां प्रदेश भाजपा कार्यालय में प्रदेशअध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर और अन्य वरिष्ठ नेताओं की मौजूदगी में औपचारिक तौर पर भाजपा की सदस्यता ग्रहण की। तोमर और अन्य नेताओं ने उनका पुष्पहार पहनाकर स्वागत किया।
प्रसाद ने दावा किया कि उनका यह फैसला अचानक हुआ है और वह पार्टी के हर आदेश का पालन करेंगे। कांग्रेस सरकार में आईएसएस अधिकारी के तौर पर अनेक महत्वपूर्ण जिम्मेदारियां निभा चुके डॉ. प्रसाद ने कांग्रेस के संबंध में सवालों का जवाब बड़े सोच समझकर दिया और कहा कि इन दिनों वह गुटबाजी से जूझ रही है। उसके नेताओं में एकता नहीं है।
भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष तोमर ने डॉ. प्रसाद के पार्टी में शामिल होने की औपचारिक घोषणा करते हुए कहा कि उनकी पार्टी सेंधमारी और तोड़फोड़ में विश्वास नहीं करती है लेकिन मौजूदा लोकसभा चुनाव बहुत महत्वपूर्ण हैं और भाजपा यह चुनाव जीतने के लिए हरसंभव प्रयास कर रही है।
इसके पहले लगभग पांच माह पहले राज्य विधानसभा चुनाव के दौरान होशंगाबाद से कांग्रेस सांसद राव उदयप्रताप सिंह ने भाजपा का दामन थामकर कांग्रेस को करारा झटका दिया था। पिछले वर्ष ही जुलाई माह में विधानसभा में कांग्रेस विधायक दल के उपनेता चौधरी राकेश सिंह ने अचानक विधानसभा में ही अपनी पार्टी की खिलाफत की और फिर कुछ ही देर बार भाजपा के प्रदेश कार्यालय पहुंचकर पार्टी की सदस्यता ग्रहण की थी।
डॉ. भागीरथ प्रसाद को भिंड से कांग्रेस प्रत्याशी शनिवार को ही घोषित किया गया। राज्य की 29 में से 22 सीटों पर कांग्रेस की ओर से प्रत्याशी घोषित किए गए हैं। माना जा रहा है कि अब भाजपा प्रसाद को भिंड से पार्टी प्रत्याशी बना सकती है। भाजपा ने अभी तक अपने उम्मीदवारों की घोषणा नहीं की है।
पार्टी सूत्रों के अनुसार भाजपा राज्य की सभी 29 सीटों पर विजय हासिल करने के उद्देश्य से "मिशन 29" पर काम कर रही है। सूत्रों का दावा है कि कुछ और कांग्रेस नेता पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ काफी पहले से संपर्क में हैं। पार्टी सभी मुद्दों पर विचार के बाद सिर्फ जीत हासिल करने के लिए ही कोई कदम उठा रही है।
डॉ. प्रसाद ने अनुसूचित जाति के लिए सुरक्षित भिंड लोकसभा सीटसे पिछला चुनाव कांग्रेस प्रत्याशी के तौर पर लड़ा था और तब उन्हें भाजपा के अशोक अर्गल के हाथों शिकस्त झेलना पड़ी थी। वह भिंड जिले के अटेर क्षेत्र में आने वाले मसूरी गांव के निवासी हैं और भारतीय प्रशासनिक सेवा से मुक्त होने के बाद इंदौर के देवी अहिल्या विश्वविद्यालय के कुलपति बनाए गए थे। इसके बाद में वह कांग्रेस में शामिल हो गए थे।
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