शनिवार, 25 जनवरी 2014

पुरूष वेश्या (जिगोलो) बनाने का झांसा दे ठगे लाखों

रायपुर। देश भर में जिगोलो (पुरूष वेश्या) का गोरखधंधा धड़ल्ले से चल रहा है। इस तरह के मामलों में ठगी के शिकार हुए दर्जनों इंजीनियरिंग, मेडिकल एवं प्रोफेशनल कोर्सेज में पढ़ाई करने वाले युवक जिगोलो बनने के नाम पर ठगे जा रहे हैं। पुरूष वेश्या (जिगोलो) बनाने का झांसा दे ठगे लाखों
सूत्रों के अनुसार कई लोगों ने जिगोलो बनाने के नाम पर युवकों को खुला आमंत्रण दिया। मस्ती और मोटी रकम की लालच में उन्होंने जिगोलो बनाने वाले कंपनियों के एकाउंट में पैसे जमा करा दिए।

एकाउंट में पैसा जाने के बाद संबंधित कंपनी के प्रतिनिधि का मोबाइल बंद आता है। शर्म के मारे युवक इसकी शिकायत भी कहीं नहीं कर पाते हैं। नौम का खुलासा नहीं करने की शर्त पर ठगी के शिकार युवकों ने पत्रिका को जिगोलो के गोरखधंधे की सनसनीखेज हकीकत के बारे में बताया। युवकों ने बताया कि देह व्यापार का धंधा करने वाली कंपनियां ऑनलाइन जिगोलों बनाने का झांसा दे रही हैं। इसके लिए युवकों का ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन किया जा रहा है। युवकों से 2 से 5 हजार रूपए तक का डिमांड ड्राफ्ट मंगाए जा रहे हैं।

शिकायत के बाद पत्रिका एक्सपोज ने कुछ वेबसाइटें खंगाली। इन साईट्स पर जिगोलो बनाने का क्राइटेरिया एवं शर्ते दी गई हैं। वेबसाइट इतने प्रोफेशनल तरीके से डेवलप की गई है कि इस पर फौरन यकीन हो जाता है। इनमें अलग से ज्वाइनिंग फॉर्म भी दिए गए हैं। ये फॉर्म अलग-अलग जिलों के नाम से होते हैं। इसमें दिल्ली और देश के अन्य बड़े महानगरों से लेकर दूर-दराज स्थित छोटे-छोटे कस्बों में जिगोलो बनाने के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन चल रहा है।

एक क्लिक में जिगोलो

हाईप्रोफाइल कॉलगल्र्स के धंधे के बाद अब कॉलब्वॉय (पुरूष वेश्या या जिगोलो) ने इंटरनेट पर अपनी पैठ जमा ली है। देहव्यापार चलाने वाली कंपनियां मोबाइल या फोन पर कॉल करने वाले युवकों को लुभाने के लिए भी कई हथकंडे अपनाती हैं। इतना ही नहीं, एक क्लिक पर जिगोलों बनाने के फंडे बताए जा रहे हैं।

मांगा जाता है पूरी बॉडी का ब्यौरा

जिगोलो की मेम्बरशिप लेने के लिए युवकों तो पूरा प्रोफाइल देना होता है। इसमें नाम, पता, योग्यता, पेशा के अलावा फैमिली डिटेल भी देनी होती है। उन्हें अपनी बॉडी का पूरा ब्यौरा देना होता है। बालों के रंग, आंखों का रंग व आकार, कद, काठी, रंग, भाषा ज्ञान के साथ ही वैवाहिक स्थिति और बच्चे तक का ब्यौरा देना होता है। जिगोलो बनाने के लिए अच्छी कद-काठी वाले युवकों को ही सदस्यता दी जाती है, क्योंकि कंपनियों के पास वैसे ही युवकों की डिमांड आती है। वहीं कंपनियां युवकों को फोटो भी मांगती हैं।

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें