शिलांग। मेघालय के पश्चिम गारो पर्वतीय जिले में पिछले हफ्ते एक 12 वर्षीय बच्ची को हवस का शिकार बनाने वाले खाकी वर्दी वाले गुंडों को स्थानीय अदालत ने 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है। जनता का रक्षक बनने की कसम खाने वाले इन शैतानों में एक पुलिस उप निरीक्षक और दो प्रशिक्षु उप निरीक्षक हैं।
पुलिस अधीक्षक मुकेश कुमार सिंह ने शनिवार को बताया कि इन तीनों को शुक्रवार रात तुरा क्षेत्र से गिरफ्तार किया गया था और इसके तुरंत बाद निलंबित कर दिया गया।
यह घटना 28 दिसंबर रात 11 बजे की है जब बच्ची अपने चाचा के साथ वाडानाग क्षेत्र से अपनी दुकान बंद करने के बाद आटो रिक्शा से लौट रही थी। इसी बीच पुलिस जिप्सी में मौजूद नशे में धुत इन तीनों हैवानों ने उनका आटो रिक्शा रूकवाया और उसके चाचा पर उग्रवादी होने का आरोप लगाया।
इसके बाद इन तीनों पुलिसकर्मियों ने इस अबोध बच्ची को अपनी हवस का शिकार बनाया। उन्होंने बताया कि इनके खिलाफ पोक्सो कानून के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है। मामले की जांच एक महिला उप निरीक्षक स्तर की अधिकारी कर रही है ।
पुलिस अधीक्षक मुकेश कुमार सिंह ने शनिवार को बताया कि इन तीनों को शुक्रवार रात तुरा क्षेत्र से गिरफ्तार किया गया था और इसके तुरंत बाद निलंबित कर दिया गया।
यह घटना 28 दिसंबर रात 11 बजे की है जब बच्ची अपने चाचा के साथ वाडानाग क्षेत्र से अपनी दुकान बंद करने के बाद आटो रिक्शा से लौट रही थी। इसी बीच पुलिस जिप्सी में मौजूद नशे में धुत इन तीनों हैवानों ने उनका आटो रिक्शा रूकवाया और उसके चाचा पर उग्रवादी होने का आरोप लगाया।
इसके बाद इन तीनों पुलिसकर्मियों ने इस अबोध बच्ची को अपनी हवस का शिकार बनाया। उन्होंने बताया कि इनके खिलाफ पोक्सो कानून के तहत मामला दर्ज कर लिया गया है। मामले की जांच एक महिला उप निरीक्षक स्तर की अधिकारी कर रही है ।
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