ताकत वतन कि हमसे हें। सरहद पर एक रात जवानो के साथ
बाड़मेर बी.एस.एफ के जवान पाक रेंजर्स की खामोशी या निकमेमप पर किसी प्रकार की कोई रिस्क लेने को तैयार नही हैं। दुश्मन कतई विश्वास करने लायक नही हैं जिसमें एल.ओ.सी की घटना के बाद बी.एस.एफ ने अंतर्राष्ट्रीय सीमा पर और चैकसी बढ़ा दी हैं वैसे बोर्डर पर दिन में दो मर्तबा ऊंटो पर बी.एस.एफ के खोजी जवानों द्वारा नियमित खुर्रा चैकिंग की जा रही हैं।
नई टोली भयंकर सर्दी में सरहद पर जाने के लिए तैयार हो रही है इन सब जवानो ने सर्दी से निपटने के लिए पूरा जपात कर लिया है और रात ,में नफरी करने के लिए अपने हथियारों के साथ ही आधुनिक उपकरण लेकर तैयार है
अब रात के समय में तापमान कितना भी गिर जाए तो आप तो इस सर्दी से बचने के लिए रजाई के अन्दर सो रहे होगे या हीटर लगाकर सो रहे होगे लेकिन सीमा पर आग जलना मनाई है क्योकि इससे दुश्मन को हमारी पोजीसन का पता चल जाता है हमारे जबाज जवान ठण्ड में भी अपनी ड्यूटी बड़ी मुस्तेदी के साथ करते नजर आ रहे है
इस ठंडी रात में भी तीन से चार बार कम्पनी कमांडर जिप्सी से नफरी करते है ताकि कोई जवान अपनी ड्यूटी में कोताही न बरते इन दिनों रात के समय में जवान को ड्यूटी मुस्तेदी से करे इस लिए कई बार चाय भी दी जा रही है
जाबाजों की जज्बे को हमने देखा बारीकी से
चाहे घोर धुंध हो या फिर कडाके की सर्दी हर परिस्थिति में दुश्मन के नापाक इरादों का दमन करने का जज्बा बीएसएफ़ के जवानो को मिला हैं इसमें कोई भी शक या सवाल नहीं हैं। हर परिस्थति में दुश्मन को मुंह तोड़ जवाब देने के लिए 24 घंटे तैयार सीमा के रक्षक यानी बॉर्डर पर बीएसएफ़ के जवानो के देखकर तो यही लगता है कि अब सीमा पर पडोसी को उसकी गुस्ताखियों की सजा देने के लिए हमारे जबाज तैयार है। फर्स्ट इंडिया की टीम ने जवानो का साथ बिताई और यह जानने कि कोशिश की आखिर किस तरह जवान इतनी भयंकर सर्दीली हवाओ में ड्यूटी को मुस्तेदी से करता है
सर्दियों में जब बॉर्डर पर तापमान 1 या दो डिग्री हो जाता है और धुंध बढ़ जाती है तो बॉर्डर पर यह खतरा रहता है कि कोहरे की आड़ में कभी भी कोई बड़ी घुसपेठ हो सकती है या सीमा पार से कोई भी अवांछित गतिविधि हो सकती है इसलिए बीएसएफ़ भयंकर सर्दियों में जब पार जीरो डिग्री के आस -पास होता है तो अपने आधुनिक हथियरो और बॉर्डर के अलर्ट कर हेड क्वाटर पैर बेठे जवान और अधिकारियो को बॉर्डर पर भेज के नफरी के साथ ही उपकरणे से बॉर्डर को पूरा खगाला जाता है। यहाँ तक बीएसएफ़ बॉर्डर के आस -पास के गावो में MOB लगाकर बॉर्डर पर आने जाने वाले की तलाशी लेती है
यहाँ पर रूटीन में होने वाली नफरी के साथ ही दिन में जिप्सी से पेट्रोलिंग, ऊँटो से पेट्रोलिंग, ,पैदल पेट्रोलिंग और रात के समय में कम्पनी कमांडर के साथ ही कई अधिकारी देर रात तक तारबंदी के पास पेट्रोलिंग पर जाकर जवानो की हर ड्यूटी जैसे खुर्रा चैकिंग , फटा चैकिंग आदि को चेक करते नजर आते है। सीमा पर पहुंचे सीमा सुरक्षा बल के आईजी ए के सिन्हा के मुताबिक़ हम अपनी पूरी तैयारी के साथ बॉर्डर पर तेनात रहकर दुशमन को मुह तोड़ जवाब देने के लिए तैयार रहते है हमारे ड्यटी पर मौसम का कोई असर नहीं पड़ता है हम हर वक्त चौकस रहकर अपनी ड्यटी करते है
मारे जवान बॉर्डर पर करीब दो तीन डिग्री के तापमान में भी अपनी ड्यटी के मुस्तेदी से करते नजर आ रहे है इसलिए तो हम इन सीमा सुरक्षा बल के जवानो को कहते हैं देश के जाबांज जिहे जान से ज्यादा मुल्क की मिटटी का ज्यादा महत्व पता हैं और तो और ये जवान देश की मिटटी पर पडौसी मुल्क की छाया भी नहीं पड़ने देंगे
जीरो डिग्री सर्दी से विचलित नहीं जाबांज
विश्व के सबसे बड़े अर्द्धसैनिक बल सीमा सुरक्षा बल के जवान रेगिस्तानी इलाको में इस कहर बर्पाती सर्दहवा व सर्द रात्रि में जीरो डिग्री के जांबाज बने हुवें हैं, हड्डिया गलाने वाली ये ठंडी हवाऐं व डरावनी रातो का घुप्प अंधेरा भी इन जवानो का हौसला विचलित नही कर पा रहा हैं। हरदम प्रकृति पर विजेता ये बी.एस.एफ के जवान दुश्मन की किसी भी नापाक गतिवधि को नेस्ताबूद करने के लिए तत्पर नजर आ रहे हैं।
कश्मीर में पूंछ में एल.ओ.सी की घटना के बाद बी.एस.एफ के जवान और अधिक सर्तक व मुस्तैद हैं। भारत माता के जय जयकारों के जोश से लबालब ये बी.एस.एफ के जीरो डिग्री के ये जवान एकटक सीमा पार पाक सीमा में गडा कर हर हलचल पर निगाह रखे हुवें हैं, । सांय सांय करती ठंडी हवा के थपेड़े शरीर पर ऐसे लग रहे हैं जैसे सैंकड़ो सुईयां एक साथ चुभाई जा रही हैं। हड्डिया गलाने वाली ऐसे विपरित एडवर्स कन्डीशन में विश्व के सबसे बढ़े अर्द्धसैनिक बल के सजग जवान इस बियबियान भारत पाक सीमा पर 500-600 मीटर के फासले में बुलंद हौसलो के साथ पेट्रोलिंग कर रहे हैं। नींद कोसो दूर हैं, थकान का नामोनिशान नही हैं, लगातार 6-7 घंटे अपने-अपने क्षेत्र की चैकसी में मुस्तैद हैं
सीमा पार विषम परिस्थितियों में हार्ड ड्यूटी कर रहे बी.एस.एफ के जवानो के लिए मुख्ख्यालय द्वारा कई आधुनिक सुविधाऐं मुहैया करवाई हैं। जवान खुश रहे तनाव रहित रहे, इसके लिए कई प्रकार के प्रयास किये जा रहे हैं। सीमा चैकियों पर मनोरंजन के लिए टी.वी म्यूजिक प्लेयर लगाए गए हैं, साथ स्टेªश मेनेजमेंट के तहत खेल गविविधियों के साथ ध्यान योगा प्राणायम समय की उपलब्धता के अनुसार करवाया जा रहा हैं।
पाकिस्तान रेंजर्स बहुत कम सीमा चैकियों से बाहर निकलते हैं। कभी कभार ही व पेट्रालिंग या गश्त करते हुवें देखे जाते हैं।
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सर्दियों में जब बॉर्डर पर तापमान 1 या दो डिग्री हो जाता है और धुंध बढ़ जाती है तो बॉर्डर पर यह खतरा रहता है कि कोहरे की आड़ में कभी भी कोई बड़ी घुसपेठ हो सकती है या सीमा पार से कोई भी अवांछित गतिविधि हो सकती है इसलिए बीएसएफ़ भयंकर सर्दियों में जब पार जीरो डिग्री के आस -पास होता है तो अपने आधुनिक हथियरो और बॉर्डर के अलर्ट कर हेड क्वाटर पैर बेठे जवान और अधिकारियो को बॉर्डर पर भेज के नफरी के साथ ही उपकरणे से बॉर्डर को पूरा खगाला जाता है। यहाँ तक बीएसएफ़ बॉर्डर के आस -पास के गावो में MOB लगाकर बॉर्डर पर आने जाने वाले की तलाशी लेती है
यहाँ पर रूटीन में होने वाली नफरी के साथ ही दिन में जिप्सी से पेट्रोलिंग, ऊँटो से पेट्रोलिंग, ,पैदल पेट्रोलिंग और रात के समय में कम्पनी कमांडर के साथ ही कई अधिकारी देर रात तक तारबंदी के पास पेट्रोलिंग पर जाकर जवानो की हर ड्यूटी जैसे खुर्रा चैकिंग , फटा चैकिंग आदि को चेक करते नजर आते है। सीमा पर पहुंचे सीमा सुरक्षा बल के आईजी ए के सिन्हा के मुताबिक़ हम अपनी पूरी तैयारी के साथ बॉर्डर पर तेनात रहकर दुशमन को मुह तोड़ जवाब देने के लिए तैयार रहते है हमारे ड्यटी पर मौसम का कोई असर नहीं पड़ता है हम हर वक्त चौकस रहकर अपनी ड्यटी करते है
मारे जवान बॉर्डर पर करीब दो तीन डिग्री के तापमान में भी अपनी ड्यटी के मुस्तेदी से करते नजर आ रहे है इसलिए तो हम इन सीमा सुरक्षा बल के जवानो को कहते हैं देश के जाबांज जिहे जान से ज्यादा मुल्क की मिटटी का ज्यादा महत्व पता हैं और तो और ये जवान देश की मिटटी पर पडौसी मुल्क की छाया भी नहीं पड़ने देंगे
जीरो डिग्री सर्दी से विचलित नहीं जाबांज
विश्व के सबसे बड़े अर्द्धसैनिक बल सीमा सुरक्षा बल के जवान रेगिस्तानी इलाको में इस कहर बर्पाती सर्दहवा व सर्द रात्रि में जीरो डिग्री के जांबाज बने हुवें हैं, हड्डिया गलाने वाली ये ठंडी हवाऐं व डरावनी रातो का घुप्प अंधेरा भी इन जवानो का हौसला विचलित नही कर पा रहा हैं। हरदम प्रकृति पर विजेता ये बी.एस.एफ के जवान दुश्मन की किसी भी नापाक गतिवधि को नेस्ताबूद करने के लिए तत्पर नजर आ रहे हैं।
कश्मीर में पूंछ में एल.ओ.सी की घटना के बाद बी.एस.एफ के जवान और अधिक सर्तक व मुस्तैद हैं। भारत माता के जय जयकारों के जोश से लबालब ये बी.एस.एफ के जीरो डिग्री के ये जवान एकटक सीमा पार पाक सीमा में गडा कर हर हलचल पर निगाह रखे हुवें हैं, । सांय सांय करती ठंडी हवा के थपेड़े शरीर पर ऐसे लग रहे हैं जैसे सैंकड़ो सुईयां एक साथ चुभाई जा रही हैं। हड्डिया गलाने वाली ऐसे विपरित एडवर्स कन्डीशन में विश्व के सबसे बढ़े अर्द्धसैनिक बल के सजग जवान इस बियबियान भारत पाक सीमा पर 500-600 मीटर के फासले में बुलंद हौसलो के साथ पेट्रोलिंग कर रहे हैं। नींद कोसो दूर हैं, थकान का नामोनिशान नही हैं, लगातार 6-7 घंटे अपने-अपने क्षेत्र की चैकसी में मुस्तैद हैं
सीमा पार विषम परिस्थितियों में हार्ड ड्यूटी कर रहे बी.एस.एफ के जवानो के लिए मुख्ख्यालय द्वारा कई आधुनिक सुविधाऐं मुहैया करवाई हैं। जवान खुश रहे तनाव रहित रहे, इसके लिए कई प्रकार के प्रयास किये जा रहे हैं। सीमा चैकियों पर मनोरंजन के लिए टी.वी म्यूजिक प्लेयर लगाए गए हैं, साथ स्टेªश मेनेजमेंट के तहत खेल गविविधियों के साथ ध्यान योगा प्राणायम समय की उपलब्धता के अनुसार करवाया जा रहा हैं।
पाकिस्तान रेंजर्स बहुत कम सीमा चैकियों से बाहर निकलते हैं। कभी कभार ही व पेट्रालिंग या गश्त करते हुवें देखे जाते हैं।
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