शनिवार, 23 नवंबर 2013

अपना वोट उसे दो जो आपको विकास की मुख्य धारा से जोड़ सके: डा मृदुरेखा

अपना वोट उसे दो जो आपको विकास की मुख्य धारा से जोड़ सके: 

डा मृदुरेखा


बाड़मेर।जनता के वोट से जो नेता जीतता हैं उसकी जिम्मेदारी होती हैं कि वह पांच साल तक जनता के सुख दुख में साथ रहे और आपको विकास से जोड़ने के लिए सेतू का काम करे। आम आदमी वोट इस उम्मीद से देते हैं कि विकास से जुड़ सके । मगर आपका चुना हुआ जनप्रतिनिधि जीतने के बाद आपको ही भूल जाता हैं , क्या यही हैं आपकी वोट की कीमत। आप जिसे वोट दे रहे वह स्थानीय होना चाहिए ना कि कोई और। इसलिए आप जब मतदान केंद्र पर जाए तब अपना वोट सोच समझ कर उसे दे जो आपको विकास से जोड़ने में रूचि रखता हो। क्योंकि आपका सही वोट सही जनप्रतिनिधि को चुनकर सदन में भेेजेगा, और वही आपको विकास की मुख्य धारा से जोड़ सकता हैं। मै आपसे यही अपील कर रही हूं कि आप इस बार अपना वोट आरी के निषान पर देकर मुझे विजयी बनाए। यह बात बाड़मेर विधानसभा क्षेत्र से निर्दलीय प्रत्याक्षी डाॅ मृदुरेखा चैधरी ने जनसभा को सम्बोधित करते हुए कही ।
षनिवार की रोज जसदेर तालाब जोगी बस्ती, लंगेरा, मकाणियों की ढ़ाणी लंगेरा, कुर्जा फांटा, महाबार, झेरड़ी नाडी, सोलंकियों की ढ़ाणी, मीठड़ा, गरल ओपनवेल, गरल, रामपुरा, रामदेवजी का मंदिर सहित दर्जनभर ग्रामीण क्षेत्रों में जनसभाएं कर मतदाताओं से अपने पक्ष में मतदान करने की अपील की। जहां स्थानीय मतदाताओं से रूबरू होते हुए डाॅ मृदुरेखा ने मतदान के दिन आरी के निषान पर सर्वाधिक मतदान कर जीत दिलाने का आहवान किया। 
जनसभाओं के दौरान खुमानसिंह राजपुरोहीत लंगेरा, हिन्दुसिंह कुर्जाफांटा, डालुराम, भीमसिंह, किषनसिंह, भीमसिंह महाबार, प्रतापसिंह मीठड़ा, भेरपुरी, नरसीराम महाबार गरल, विषनाराम, डुंगराराम नाई, भेराराम, रायमलराम महाबार सहित सेकड़ों की तादात में लोग मौजूद रहे।

छात्रषक्ति से मांगा सहयोग: 

घर की चैखट से निकलकर षिक्षा के मन्दिर में अपना भविश्य सुधारने के लिए कौसो दूर का सफर तय करने वाली छात्रषक्ति से सनावड़ा के पास राजमार्ग पर रूबरू होते हुए डाॅ मृदुरेखा ने कहा कि एक छात्र को षिक्षित होने के साथ साथ देष की राजनीति का भी ज्ञान हासिल करना चाहिए। क्योंकि परिवारवाद की भंेट चढ़ रही राजनीति को अगर रोका नहीं गया तो भविश्य में इस छात्रषक्ति को बहुत बड़ा नुकसान उठाना पड़ सकता हैं। छात्रषक्ति अपने गांव ढ़ाणी में यह संदेष पहूंचाने में अहम भूमिका निभा सकती हैं कि जिसे वोट दिया जा रहा हैं वह व्यक्ति जीत के बाद जनसेवा करेगा भी या नही ? डाॅ मृदुरेखा ने छात्रषक्ति से आहवान किया कि वह इस बार अपने परिजनों को आरी के निषान पर मतदान करने का कारण भी समझाए और अपने भविश्य को परिवारवाद की राजनीति के भेंट चढ़ने से बचाए। छात्रषक्ति ने भी डाॅ मृदुरेखा को आष्वस्त किया कि वे अपने परिवार के साथ साथ सहपाठीयों से को भी समझाएंगे कि परिवारवाद की राजनीति से बचे व सेवाभावी डाॅ मृदुरेखा को अपना वोट देकर जिताए। 

महिला दल ने मांगे विकास के लिए वोट:

चुनावी प्रचार को परवान चढ़ाने में महिला समर्थक इन दिनों अहम भूमिका निभा रही हैं। डाॅ मृदुरेखा के पक्ष में मतदान करने की अपील कर रही महिला दल की महिलाओं ने घर घर जाकर महिला मतदाताओं को आरी के निषान पर बटन दबाकर डाॅ मृदुरेखा के पक्ष में सर्वाधिक मतदान करने की अपील की। इस दौरान पर्चे बांट कर निर्दलीय प्रत्याक्षी डाॅ मृदुरेखा चैधरी के चुनाव चिन्ह की जानकारी दी। महिला दल ने इस दौरान युवावर्ग से बात करते हुए कहा कि खासकर बुजुर्ग मतदाताओं से बात करते हुए कहा कि आपका एक एक वोट बेषकिमती हैं ।

आरी पर मतदान का संदेष दे रहा चुनाव रथ:

निर्दलीय प्रत्याक्षी डाॅ मृदुरेखा चोधरी के चुनावी प्रचार के लिए इन दिनों चुनाव प्रचार रथ दिन भर षहरी व ग्रामीण क्षेत्र में घूम घूम कर आरी के निषान पर मतदान करने का संदेष देते हुए डाॅ मृदुरेखा को सर्वाधिक मतों से जीताने की अपील कर रहा हैं। रथ प्रमुख हेमंत भाटी अपने साथीयों के साथ सवेरे जल्दी ही जनसम्पर्क के लिए निकल जाते हैं। तथा दिन भर दर्जनों स्थानों पर घूम कर चुनाव प्रचार कर रहा हैं। इस दौरान डाॅ मृदुरेखा के पक्ष में मतदान करने की अपील कर रहा हैं। भाटी ने बताया कि रथ के माध्यम से दिए जा रहे संदेष को सुनने के लिए आने वाली महिलाए काफी उत्साहित होकर कहती हैं कि म्हारी तो आ ई नेता हैं म्हे इणने ही जीतावां ला। 

रात्री चैपालों में मिल रहा जनसमर्थन:

डाॅ मृदुरेखा द्वारा षहरी क्षेत्र में चुनाव प्रचार के लिए की जा रही जनसभाओं में स्थानीय मतदाताओं का लगातार समर्थन मिल रहा हैं। यही नहीं स्थानीय मतदाताओं में अपने अपने क्षेत्र में डाॅ चैधरी की जनसभा करवाने की भी होड सी लगी हैं। जहां 36कौम के मतदाताओं द्वारा समर्थन मिल रहा हैं। इसी क्रम में देषांतरीयों का वास, किसान केसरी स्कूल के पास, सांसीयों की बस्ती में जनसभाओं का आयोजन हुआ।

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