भीलवाड़ा। भाजपा के प्रधानमंत्री पद के प्रत्याशी नरेन्द्र मोदी ने गुरूवार को यहां पार्टी प्रत्याशियों के समर्थन में आयोजित चुनावी सभा में कांग्रेस एवं उसके नेताओं पर जमकर निशाना साधा।
भारी जनसमूह की मौजूदगी में करीब 49 मिनट के अपने सम्बोधन में उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस के पास नेता, नीति एवं नीयत ही नहीं है।
कांग्रेस नेताओं की तीन पीढियों जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, सोनिया गांधी एवं राहुल गांधी के भाषण सुन लीजिए, सबमें एक ही बात मिलेगी।
गरीब के नाम पर उसकी आंख में धूल झोंककर वोट बटोरना ही उनका काम है। कांग्रेस के लिए गरीब इंसान नहीं वोट बैंक है।
मोदी ने अटल बिहारी वाजपेयी सरकार से वर्तमान यूपीए सरकार की तुलना करते हुए आरोप लगाया कि यूपीए शासन में देश में भुखमरी बढ़ी एवं दुनिया में सम्मान कम हुआ।
मोदी ने दावा किया कि देश में 1977 के बाद पहली बार जनता जनार्दन स्वयं चुनाव लड़ रही है।देश में आंधी चल रही है और कांग्रेस का बचना मुश्किल है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को उसके पापों की सजा देने के लिए पूरा हिन्दुस्तान जाग उठा है।
जनता जनार्दन ने मन बना लिया है और अब यह देश कांग्रेस को साफ करके ही रहेगा। कांग्रेस जनता को जिन अधिकारों को देने की बात करती है, वह उसने नहीं भारतीय संविधान ने प्रदान किए हैं।
अपनी सरकार पर ही विश्वास नहीं
उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के प्रदेश सरकार की तारीफ करने पर जमकर प्रहार किए। उन्होंने कहा कि सोनिया जिस सरकार को अच्छी बता रही है, उसके राज में 40 से ज्यादा दंगे हुए।
कांग्रेस के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष राहुल गांधी का नाम लिए बिना कहा किखुद उन्हें अशोक गहलोत सरकार पर विश्वास नहीं था, इसलिए भरतपुर में दंगे होने पर वे बिना बताए आ गए। उन्हें अपनी सरकार पर ही विश्वास नहीं था।
उन्हें चोरी की मोटरसाइकिल पर हिस्ट्रीशीटर के साथ बैठना मंजूर था, लेकिन गहलोत की गाड़ी मंजूर नहीं थी। गहलोत के साथ मंच पर बैठना मंजूर नहीं था।
मोदी ने सर्वोच्च न्यायालय एवं उच्च न्यायालय द्वारा राज्य सरकार पर की गई प्रतिकूल टिप्पणियों की चर्चा करते हुए कहा कि सरकार अच्छा काम कर रही होती, तो न्यायालयों को ऎसी टिप्पणियां नहीं करनी पड़ती।
तो क्यों आते गुजरात
मोदी ने कहा कि मध्यप्रदेश में भाजपा को लगातार दस वष्ाü सेवा का मौका मिलने पर बीमारू राज्य का कलंक मिट गया, लेकिन राजस्थान अब भी इस कलंक को झेल रहा है।
इसके बावजूद सोनिया गांधी कह रही है कि अशोक गहलोत ने बहुत अच्छा काम किया, अगर गहलोत ने यहां का भला किया होता, तो भीलवाड़ा के टेक्सटाइल उद्योग के लोगों को गुजरात नहीं आना पड़ता।
उन्होंने राज्य की बिजली आपूर्ति व्यवस्था ठीक नहीं होने का आरोप लगाते हुए कहा कि यहां बिजली जाने की नहीं बल्कि आने की खबर बनती है।
मां-बाप की सेवा के लिए चाय बेची
मोदी ने कांग्रेस के एक नेता द्वारा चाय बेचने वाले के देश का प्रधानमंत्री बनने की बात करने सम्बन्धी बयान पर भी सवाल उठाया। उन्होंने लोगों से पूछा कि मां-बाप की सेवा के लिए चाय बेची, तो कोई गुनाह नहीं किया, कोई चोरी-डाका नहीं डाला।
यह देश तय करेगा कि उस चाय बेचने वाला प्रधानमंत्री चाहिए या देश बेचने वाला। फुटपाथ पर बैठकर जूते पॉलिश करने वाले एवं खेत-खलिहान में काम करने वाला भी जनता का आशीर्वाद मिलने पर प्रधानमंत्री बन सकता है।
देश के खजाने पर जनता का हक
मोदी ने कांग्रेस नेताओं द्वारा बार-बार राजस्थान को खूब आर्थिक सहायता देने की बात पर कटाक्ष करते हुए कहा कि कांग्रेस तो इस तरह की भाष्ाा बोल रही है जैसे हम भिखारी हैं, जो दिल्ली के दरबार में भीख का कटोरा लेकर खड़े हैं।
देश के खजाने पर जनता-जनार्दन का हक बताते हुए उन्होंने कहा कि पैसा मोदी, गहलोत या मनमोहन सिंह की जेब से नहीं जनता के चुकाए कर से आ रहा है।
गरीबों का उड़ाते मजाक
मोदी ने कांग्रेस पर गरीबों का मजाक उड़ाने का आरोप लगाते हुए कहा कि उन्होंने किसी के घर गरीबी नहीं देखी इसलिए साल में एक बार किसी के घर गरीबी देखने चले जाते हैं।
सोने का चम्मच लेकर पैदा होने वाले गरीबी को नहीं समझ सकते। प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का नाम लिए बिना कहा कि देश का एक अर्थशास्त्री प्रधानमंत्री होकर योजना आयोग का अध्यक्ष है।
आयोग कह रहा है कि 26 रूपए रोज कमाने वाला गरीब नहीं है, जबकि 26 रूपए में 300 ग्राम प्याज भी नहीं आते। उन्होंने कहा कि कांग्रेस जानती है कि देश गरीबी से ऊपर उठा गया तो वह आगामी 100 साल तक सत्ता में नहीं आ पाएगी।
जवाब देने को तैयार नहीं सरकार
मोदी ने कहा कि लोकतंत्र में हर सरकार को पांच वष्ाü में जनता के समक्ष उसने जो भी किया, उसका पाई-पाई एवं पल-पल का हिसाब देना चाहिए, लेकिन देश एवं राजस्थान की कांग्रेस सरकार हिसाब देने को तैयार नहीं है। ऎसे लोगों की लोकतंत्र की बात करने का भी अधिकार नहीं है।
भीलवाड़ा की संपत्ति ध्यान नहीं आती
मोदी ने भीलवाड़ा की चर्चा करते हुए कहा कि यहां का इलाका कीमती खनिजों से भरा पड़ा है। यहां की जमीन में ऎसी संपदा भरी पड़ी है कि पूरा इलाका मालामाल हो जाए।
इसके बावजूद दिल्ली में जो सरकार बैठी है, उसे भीलवाड़ा की सपंत्ति का ध्यान नहीं आता और सोना खोजने कहीं ओर चली जाती है।
उन्होंने सरकार पर कुछ प्रियजनों को भीलवाड़ा की संपत्ति लुटाने का आरोप लगाते हुए कहा कि तबाह करने वालों के हाथों से बचाने के लिए पहले कांग्रेस को भगाना होगा।
यह कैसा प्रोटोकॉल
मोदी ने राजस्थान को वीरों की भूमि बताते हुए उस प्रोटोकॉल व्यवस्था पर सवाल उठाए, जिसमें एक तरफ पाक हमारी सेना के जवानों को मार रहा था, दूसरी तरफ भारत सरकार जयपुर में पाक प्रधानमंत्री को चिकन-बिरयानी परोस रही थी। दिल्ली की सरकार को हमारी सेना पर नाज होता तो पाक सेना हमारे जवानों के सिर काटकर नहीं ले जा सकती थी।
भारी जनसमूह की मौजूदगी में करीब 49 मिनट के अपने सम्बोधन में उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस के पास नेता, नीति एवं नीयत ही नहीं है।
कांग्रेस नेताओं की तीन पीढियों जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, सोनिया गांधी एवं राहुल गांधी के भाषण सुन लीजिए, सबमें एक ही बात मिलेगी।
गरीब के नाम पर उसकी आंख में धूल झोंककर वोट बटोरना ही उनका काम है। कांग्रेस के लिए गरीब इंसान नहीं वोट बैंक है।
मोदी ने अटल बिहारी वाजपेयी सरकार से वर्तमान यूपीए सरकार की तुलना करते हुए आरोप लगाया कि यूपीए शासन में देश में भुखमरी बढ़ी एवं दुनिया में सम्मान कम हुआ।
मोदी ने दावा किया कि देश में 1977 के बाद पहली बार जनता जनार्दन स्वयं चुनाव लड़ रही है।देश में आंधी चल रही है और कांग्रेस का बचना मुश्किल है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस को उसके पापों की सजा देने के लिए पूरा हिन्दुस्तान जाग उठा है।
जनता जनार्दन ने मन बना लिया है और अब यह देश कांग्रेस को साफ करके ही रहेगा। कांग्रेस जनता को जिन अधिकारों को देने की बात करती है, वह उसने नहीं भारतीय संविधान ने प्रदान किए हैं।
अपनी सरकार पर ही विश्वास नहीं
उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के प्रदेश सरकार की तारीफ करने पर जमकर प्रहार किए। उन्होंने कहा कि सोनिया जिस सरकार को अच्छी बता रही है, उसके राज में 40 से ज्यादा दंगे हुए।
कांग्रेस के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष राहुल गांधी का नाम लिए बिना कहा किखुद उन्हें अशोक गहलोत सरकार पर विश्वास नहीं था, इसलिए भरतपुर में दंगे होने पर वे बिना बताए आ गए। उन्हें अपनी सरकार पर ही विश्वास नहीं था।
उन्हें चोरी की मोटरसाइकिल पर हिस्ट्रीशीटर के साथ बैठना मंजूर था, लेकिन गहलोत की गाड़ी मंजूर नहीं थी। गहलोत के साथ मंच पर बैठना मंजूर नहीं था।
मोदी ने सर्वोच्च न्यायालय एवं उच्च न्यायालय द्वारा राज्य सरकार पर की गई प्रतिकूल टिप्पणियों की चर्चा करते हुए कहा कि सरकार अच्छा काम कर रही होती, तो न्यायालयों को ऎसी टिप्पणियां नहीं करनी पड़ती।
तो क्यों आते गुजरात
मोदी ने कहा कि मध्यप्रदेश में भाजपा को लगातार दस वष्ाü सेवा का मौका मिलने पर बीमारू राज्य का कलंक मिट गया, लेकिन राजस्थान अब भी इस कलंक को झेल रहा है।
इसके बावजूद सोनिया गांधी कह रही है कि अशोक गहलोत ने बहुत अच्छा काम किया, अगर गहलोत ने यहां का भला किया होता, तो भीलवाड़ा के टेक्सटाइल उद्योग के लोगों को गुजरात नहीं आना पड़ता।
उन्होंने राज्य की बिजली आपूर्ति व्यवस्था ठीक नहीं होने का आरोप लगाते हुए कहा कि यहां बिजली जाने की नहीं बल्कि आने की खबर बनती है।
मां-बाप की सेवा के लिए चाय बेची
मोदी ने कांग्रेस के एक नेता द्वारा चाय बेचने वाले के देश का प्रधानमंत्री बनने की बात करने सम्बन्धी बयान पर भी सवाल उठाया। उन्होंने लोगों से पूछा कि मां-बाप की सेवा के लिए चाय बेची, तो कोई गुनाह नहीं किया, कोई चोरी-डाका नहीं डाला।
यह देश तय करेगा कि उस चाय बेचने वाला प्रधानमंत्री चाहिए या देश बेचने वाला। फुटपाथ पर बैठकर जूते पॉलिश करने वाले एवं खेत-खलिहान में काम करने वाला भी जनता का आशीर्वाद मिलने पर प्रधानमंत्री बन सकता है।
देश के खजाने पर जनता का हक
मोदी ने कांग्रेस नेताओं द्वारा बार-बार राजस्थान को खूब आर्थिक सहायता देने की बात पर कटाक्ष करते हुए कहा कि कांग्रेस तो इस तरह की भाष्ाा बोल रही है जैसे हम भिखारी हैं, जो दिल्ली के दरबार में भीख का कटोरा लेकर खड़े हैं।
देश के खजाने पर जनता-जनार्दन का हक बताते हुए उन्होंने कहा कि पैसा मोदी, गहलोत या मनमोहन सिंह की जेब से नहीं जनता के चुकाए कर से आ रहा है।
गरीबों का उड़ाते मजाक
मोदी ने कांग्रेस पर गरीबों का मजाक उड़ाने का आरोप लगाते हुए कहा कि उन्होंने किसी के घर गरीबी नहीं देखी इसलिए साल में एक बार किसी के घर गरीबी देखने चले जाते हैं।
सोने का चम्मच लेकर पैदा होने वाले गरीबी को नहीं समझ सकते। प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह का नाम लिए बिना कहा कि देश का एक अर्थशास्त्री प्रधानमंत्री होकर योजना आयोग का अध्यक्ष है।
आयोग कह रहा है कि 26 रूपए रोज कमाने वाला गरीब नहीं है, जबकि 26 रूपए में 300 ग्राम प्याज भी नहीं आते। उन्होंने कहा कि कांग्रेस जानती है कि देश गरीबी से ऊपर उठा गया तो वह आगामी 100 साल तक सत्ता में नहीं आ पाएगी।
जवाब देने को तैयार नहीं सरकार
मोदी ने कहा कि लोकतंत्र में हर सरकार को पांच वष्ाü में जनता के समक्ष उसने जो भी किया, उसका पाई-पाई एवं पल-पल का हिसाब देना चाहिए, लेकिन देश एवं राजस्थान की कांग्रेस सरकार हिसाब देने को तैयार नहीं है। ऎसे लोगों की लोकतंत्र की बात करने का भी अधिकार नहीं है।
भीलवाड़ा की संपत्ति ध्यान नहीं आती
मोदी ने भीलवाड़ा की चर्चा करते हुए कहा कि यहां का इलाका कीमती खनिजों से भरा पड़ा है। यहां की जमीन में ऎसी संपदा भरी पड़ी है कि पूरा इलाका मालामाल हो जाए।
इसके बावजूद दिल्ली में जो सरकार बैठी है, उसे भीलवाड़ा की सपंत्ति का ध्यान नहीं आता और सोना खोजने कहीं ओर चली जाती है।
उन्होंने सरकार पर कुछ प्रियजनों को भीलवाड़ा की संपत्ति लुटाने का आरोप लगाते हुए कहा कि तबाह करने वालों के हाथों से बचाने के लिए पहले कांग्रेस को भगाना होगा।
यह कैसा प्रोटोकॉल
मोदी ने राजस्थान को वीरों की भूमि बताते हुए उस प्रोटोकॉल व्यवस्था पर सवाल उठाए, जिसमें एक तरफ पाक हमारी सेना के जवानों को मार रहा था, दूसरी तरफ भारत सरकार जयपुर में पाक प्रधानमंत्री को चिकन-बिरयानी परोस रही थी। दिल्ली की सरकार को हमारी सेना पर नाज होता तो पाक सेना हमारे जवानों के सिर काटकर नहीं ले जा सकती थी।
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें