मनुश्य को अपने सिवाय कोई नहीं हरा सकता कमलसिंह चूली
बाड़मेर ’’मनुश्य अपने अमर्यादित आचरण और अनुचित आदतों से ही अपने आप से हार जाता है। श्री क्षत्रिय युवक संघ मनुश्य को एक आदार जीवन पद्धति की सीख देता है और िविरों के माध्यम से अपने आप को जीतने का सतत अभ्यास करवाता है’’यह कथन िक्षाविद कमलसिंह चूली ने स्थानीय मल्लीनाथ छात्रावास में आयोजित श्री क्षत्रिय युवक संघ के 67 वें स्थापना दिवस पर समाज के सैकड़ों लोंगों को सम्बोधित करते हुए कहा।समारोह का आगाज संघ के नगर प्रमुख दीपसिंह रणधा द्वारा ध्वजारोहण कर किया गया। स्वयं सेवक उदयसिंह लाबराऊ द्वारा प्रस्तुत ध्वज वंदना के साथ क्षात्र धर्म के प्रतीक केसरिया ध्वज के सम्मुख सैकड़ों समाज सेवक नतमस्तक हुए। संघ के वरिश्ठ स्वयं सेवक महिपालसिंह चूली ने संघ प्रमुख भगवानसिंह रोलसाहबसर द्वारा समाज के नाम प्रेशित नववशर संदो का वाचन किया तथा छात्र छोटूसिंह जिंजनीयाली द्वारा संघ संस्थापक पूज्य तनसिंह रचित ओजस्वी सहगान प्रस्तुत किया गया। समारोह को सम्बोधित करते हुए संभाग प्रमुख रामसिंह माडपुरा ने कहा कि तनसिंह जी ने क्षत्रिय कौम को पतन से बचाने के लिए संघ रूपी रामबाण औशधि समाज को प्रदान की है। समारोह में वरिश्ठ स्वयं सेवक सांगसिंह लूणू, अगरसिंह जयसिंधर, कृश्णसिंह राणीगांव, भगतसिंह जसाई, कमलसिंह दूधवा, नीम्बसिंह फोगेरा, मांगुसिंह विला, बाबूसिंह सरली, मण्डल प्रमुख कमलसिंह गेंहू, आोकसिंह भीखसर, नरपतसिंह नवातला, रायसिंह उण्डखा सहित समाज के सैकडों मौजीज लोग भारीक हुए। समारोह के अन्त में नगर प्रमुख द्वारा ध्वजावतरण कर मंत्रोच्चार के साथ सभा को विसर्जित किया गया।
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