गुरुवार, 22 नवंबर 2012

जमीन के लिए भाई को 27 साल पहले ही मृत बता दिया


जमीन के लिए भाई को 27 साल पहले ही मृत बता दिया

बाड़मेर



जमीन की खातिर भाई भाई का दुश्मन बन जाता है। यह बात सुभान के परिवार पर सोलह आने सच साबित हो रही है। धनोड़ा निवासी सुभान के भाई ने ही उसे 27 साल पहले मृत घोषित कर ग्राम पंचायत से मृत्यु प्रमाण पत्र तैयार कर दिया। खातेदारी जमीन हड़पने के लिए यह कदम उठाया गया। जब हकीकत का पता चला तो सुभान बोला मैं तो जिंदा हूं। इतना ही नहीं खातेदारी भूमि को लेकर विवाद बढ़ा तो सुभान ने न्यायालय की शरण ली।

खमीशा उर्फ सुभान पुत्र अली मोहम्मद निवासी धनोड़ा (भादरेस) की पैतृक गांव में खसरा न. 113 व 154 में संयुक्त खातेदारी भूमि है। उसके भाई ने खातेदारी जमीन हड़पने के लिए 19 अक्टूबर 2001 को ग्राम पंचायत भादरेस में खमीशा उर्फ सुभान का मृत्यु प्रमाण पत्र तैयार करवाया। जिसमें बताया कि 15 अप्रैल 1985 में खमीशा की मृत्यु होने की पुष्टि की गई।

इस प्रमाण पत्र के आधार पर खातेदार भूमि अपने नाम करवाने की साजिश रची गई। इसकी सूचना मिलने पर सुभान ने ग्राम पंचायत के सरपंच के समक्ष उपस्थित होकर जिंदा होने का दावा किया। इस पर तत्कालीन सरपंच सुखाराम ने खमीशा के जिंदा होने का प्रमाण पत्र जारी कर दिया। इस दरम्यान उसके भाइयों ने ही खातेदार भूमि पर कब्जा कर दिया। विवाद बढ़ा तो मामला कोर्ट में चला गया। बावजूद इसके खमीशा के भाई उक्त भूमि पर कब्जा करने में जुटे हैं। इस पर खमीशा ने न्यायालय में एक वाद दायर कर खातेदारी भूमि पर यथास्थिति बनाए रखने के लिए स्टे देने का प्रार्थना पत्र प्रस्तुत किया है। एडवोकेट मदन सिंघल ने बताया कि खमीशा का वाद दायर किया गया है। उसे न्याय मिलने की उम्मीद हैं।




भाइयों ने किया मेरे साथ धोखा



ग्राम पंचायत भादरेस के धनोड़ा गांव का मामला, भाई ने बनवाया फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र, खुलासा हुआ तो पीडि़त ने न्यायालय की शरण ली



॥ मेरे भाइयों ने ही मुझे मृत बताकर फर्जी प्रमाण पत्र तैयार करवा दिया था। मुझे पता लगा तो मैं हाजिर हो गया। यह कृत्य खातेदारी भूमि हड़पने के लिए किया गया। अब मैंने न्यायालय की शरण ली है।
खमीशा उर्फ सुभान निवासी भादरेस

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