भागवत ने किया गृहमंत्री पर कटाक्ष
जयपुर। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघ चालक मोहन भागवत जामडोली में हो रहे चैतन्य शिविर के दौरान पूरे रौ में थे। कोयला घोटाले पर पिछले दिनों केंद्रीय गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे के बयान पर बिना उनका नाम लिए उन्होंने तंज कसा कि "...यहां पर भूलने वालों की संख्या कम और याद रखने वालों की संख्या ज्यादा है,जो समय रहते अपनी याददाश्त के हिसाब से काम करती है।" गौरतलब है कि शिंदे ने कहा था कि लोगों की याददाश्त बहुत कमजोर होती है,कुछ दिनों में लोग कोयला घोटाला भी भूल जाएंगे।
शिविर के उद्घाटन सत्र को भागवत के अलावा सह प्रांत संचालक रमेश अग्रवाल,क्षेत्र संघचालक पुरूष्ाोत्तम परांजपे,राज्य के पूर्व मुख्य सचिव एमएल मेहता और प्रांत संघचालक लक्ष्मीनारायण चातक ने भी संबोधित किया। भागवत ने कहा कि हमें ध्यान रखना है कि कहां बात करनी है और कहा काम करना है। हमें जहां तीर चलाना है,उसी निशाने पर नजर रखने की जरूरत है।
भागवत ने कहा कि समाज में पिछड़ों को आगे लाने और देश के लिए काम करने वाले संगठित समाज को बनाना आज की आवश्यकता है। देश के मूल्य और संस्कृति के लिए मरने वालों की जरूरत है। यही बात आगे जाकर स्वभाव और फिर चरित्र बन जाती है। हमे ऎसा समाज बनाना है,जिसके आगे पूरी दुनिया नतमस्तक हो जाए। मोहन भागवत ने कहा कि सीमा पर बढ़ती गतिविधियों के मद्देनजर चीन कभी भी आक्रमण कर सकता है। हो सकता है ना करे,फिर भी हमे तैयार रहना है।
विधायक व नेता भी पहुंचे
चैतन्य शिविर में भाग लेने के लिए प्रदेशाध्यक्ष अरूण चतुर्वेदी,महामंत्री सतीश पूनिया,सदन में प्रतिपक्ष के उपनेता घनश्याम तिवाड़ी,विधायक गुलाब चंद कटारिया,कालीचरण सराफ,ज्ञानदेव आहूजा सहित कई लोग पहुंचे। तिवाड़ी अपने पुत्र अखिलेश तिवाड़ी को भी शिविर में लेकर आए हैं। इसके अलावा उपमहापौर मनीष्ा पारीक,विद्यार्थी परिष्ाद के हेमंत लांबा,युवा मोर्चा के ऋçष्ा बंसल,पाष्ाüद हनुमान भी शिविर में पहुंचे हैं। भाजपा सरकार में पूर्व मंत्री भंवरलाल शर्मा के भी शिविर में पहुंचने की सूचना है।
जयपुर। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघ चालक मोहन भागवत जामडोली में हो रहे चैतन्य शिविर के दौरान पूरे रौ में थे। कोयला घोटाले पर पिछले दिनों केंद्रीय गृहमंत्री सुशील कुमार शिंदे के बयान पर बिना उनका नाम लिए उन्होंने तंज कसा कि "...यहां पर भूलने वालों की संख्या कम और याद रखने वालों की संख्या ज्यादा है,जो समय रहते अपनी याददाश्त के हिसाब से काम करती है।" गौरतलब है कि शिंदे ने कहा था कि लोगों की याददाश्त बहुत कमजोर होती है,कुछ दिनों में लोग कोयला घोटाला भी भूल जाएंगे।
शिविर के उद्घाटन सत्र को भागवत के अलावा सह प्रांत संचालक रमेश अग्रवाल,क्षेत्र संघचालक पुरूष्ाोत्तम परांजपे,राज्य के पूर्व मुख्य सचिव एमएल मेहता और प्रांत संघचालक लक्ष्मीनारायण चातक ने भी संबोधित किया। भागवत ने कहा कि हमें ध्यान रखना है कि कहां बात करनी है और कहा काम करना है। हमें जहां तीर चलाना है,उसी निशाने पर नजर रखने की जरूरत है।
भागवत ने कहा कि समाज में पिछड़ों को आगे लाने और देश के लिए काम करने वाले संगठित समाज को बनाना आज की आवश्यकता है। देश के मूल्य और संस्कृति के लिए मरने वालों की जरूरत है। यही बात आगे जाकर स्वभाव और फिर चरित्र बन जाती है। हमे ऎसा समाज बनाना है,जिसके आगे पूरी दुनिया नतमस्तक हो जाए। मोहन भागवत ने कहा कि सीमा पर बढ़ती गतिविधियों के मद्देनजर चीन कभी भी आक्रमण कर सकता है। हो सकता है ना करे,फिर भी हमे तैयार रहना है।
विधायक व नेता भी पहुंचे
चैतन्य शिविर में भाग लेने के लिए प्रदेशाध्यक्ष अरूण चतुर्वेदी,महामंत्री सतीश पूनिया,सदन में प्रतिपक्ष के उपनेता घनश्याम तिवाड़ी,विधायक गुलाब चंद कटारिया,कालीचरण सराफ,ज्ञानदेव आहूजा सहित कई लोग पहुंचे। तिवाड़ी अपने पुत्र अखिलेश तिवाड़ी को भी शिविर में लेकर आए हैं। इसके अलावा उपमहापौर मनीष्ा पारीक,विद्यार्थी परिष्ाद के हेमंत लांबा,युवा मोर्चा के ऋçष्ा बंसल,पाष्ाüद हनुमान भी शिविर में पहुंचे हैं। भाजपा सरकार में पूर्व मंत्री भंवरलाल शर्मा के भी शिविर में पहुंचने की सूचना है।
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