चंडीगढ़. सिरसा स्थित डेरा सच्चा सौदा में 400 साधुओं को नपुंसक बनाने के आरोपों की सीबीआई जांच की मांग की गई है। इस संबंध में दाखिल याचिका पर वीरवार को पंजाब एवं हरियाणा हाईकोर्ट ने हरियाणा सरकार, सिरसा व फतेहाबाद के एसपी व सीबीआई को 10 अक्तूबर के लिए नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
फतेहाबाद निवासी हंस राज चौहान की तरफ से दाखिल याचिका में कहा गया कि डेरे में रहने वाले साधुओं को सब्जबाग दिखाए गए कि नपुंसक बनने वाले साधुओं को डेरामुखी गुरमीत राम रहीम सिंह ईश्वर के दर्शन करवाएंगे।
उनके झांसे में आकर डेरे में रहने वाले लगभग 400 साधुओं ने अपना आपरेशन करवा लिया। याची ने कहा कि वह भी इन साधुओं में से एक है। उनका जीवन नर्क बन गया है। याची ने कहा कि वर्ष 1990 से वह डेरे से जुड़ा हुआ है। वर्ष 2000 में ईश्वर के दर्शन करवाने के नाम पर उसके साथ करीब 20 साधुओं को नपुंसक बना दिया गया। इससे उनके शरीर में हारमोनल बदलाव आ गए हैं। लोग उन्हें नपुंसक कहकर छेड़ते हैं।
साधु ने कर ली थी आत्महत्या
याचिका में विनोद कुमार नामक साधु का उदाहरण देकर कहा गया कि विनोद ने सिरसा कोर्ट कांप्लेक्स में आत्महत्या कर ली थी। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सामने आया था कि वह नपुंसक है। याचिका में दावा किया गया है कि इस तरह 400 साधु डेरे में हैं। याचिका पर प्राथमिक सुनवाई के बाद जस्टिस महेश ग्रोवर ने हरियाणा सरकार, सिरसा व फतेहाबाद के एसपी व सीबीआई को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है।
गलत प्रचार:
डेरा के प्रवक्ता पवन इंसां और डा. आदित्य इंसां ने बताया कि डेरा विरोधी कुछ लोग डेरा के खिलाफ गलत प्रचार कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हंसराज चौहान उर्फ हकीकी हंस डेरा का साधु रहा है। पांच वर्षो से वह डेरा छोड़ कर जा चुका है। याचिका के बारे में कुछ भी मालूम नहीं है। लेकिन इसमें जो आरोप लगाए गए हैं वे निराधार हैं।
फतेहाबाद निवासी हंस राज चौहान की तरफ से दाखिल याचिका में कहा गया कि डेरे में रहने वाले साधुओं को सब्जबाग दिखाए गए कि नपुंसक बनने वाले साधुओं को डेरामुखी गुरमीत राम रहीम सिंह ईश्वर के दर्शन करवाएंगे।
उनके झांसे में आकर डेरे में रहने वाले लगभग 400 साधुओं ने अपना आपरेशन करवा लिया। याची ने कहा कि वह भी इन साधुओं में से एक है। उनका जीवन नर्क बन गया है। याची ने कहा कि वर्ष 1990 से वह डेरे से जुड़ा हुआ है। वर्ष 2000 में ईश्वर के दर्शन करवाने के नाम पर उसके साथ करीब 20 साधुओं को नपुंसक बना दिया गया। इससे उनके शरीर में हारमोनल बदलाव आ गए हैं। लोग उन्हें नपुंसक कहकर छेड़ते हैं।
साधु ने कर ली थी आत्महत्या
याचिका में विनोद कुमार नामक साधु का उदाहरण देकर कहा गया कि विनोद ने सिरसा कोर्ट कांप्लेक्स में आत्महत्या कर ली थी। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सामने आया था कि वह नपुंसक है। याचिका में दावा किया गया है कि इस तरह 400 साधु डेरे में हैं। याचिका पर प्राथमिक सुनवाई के बाद जस्टिस महेश ग्रोवर ने हरियाणा सरकार, सिरसा व फतेहाबाद के एसपी व सीबीआई को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया है।
गलत प्रचार:
डेरा के प्रवक्ता पवन इंसां और डा. आदित्य इंसां ने बताया कि डेरा विरोधी कुछ लोग डेरा के खिलाफ गलत प्रचार कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हंसराज चौहान उर्फ हकीकी हंस डेरा का साधु रहा है। पांच वर्षो से वह डेरा छोड़ कर जा चुका है। याचिका के बारे में कुछ भी मालूम नहीं है। लेकिन इसमें जो आरोप लगाए गए हैं वे निराधार हैं।
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