शनिवार, 16 जून 2012

लाशों के ढेर में ढूंढते रहे जिंदगी

रुदन और चीत्कार में बदला माहौल
हादसा उन्नीस जिंदगियों की अंतिम यात्रा, बस बन गई चिता

सिवाड़ा के समीप इस हादसे ने हर किसी का दिल दहला दिया। जिसने भी सुना। सुनकर ही रो पड़ा। मात्र आधे घंटे पहले यह बस सांचौर से रवाना हुई थी। यात्रियों को अपने घर पहुंचना था। ये वे लोग थे जो जिले के अलावा पड़ोसी बाड़मेर जिले के गांवों से रोजाना मजदूरी या अन्य जरूरी कामों से सांचौर आते हैं और शाम को इसी बस से रवाना होते हैं। यही इनका रोजाना का काम था, लेकिन रोजाना की तरह इनका यह सफर पूरा नहीं हो पाया। हाईवे पर सिवाड़ा चौकी से मात्र कुछ ही दूरी पर यह हादसा हो गया। घायलों की मानें तो यह जोरदार धमाका था और इसी के साथ बस में आग लग गई। इसके बाद तेज लपटों में देखते ही देखते 19 लोग जिंदा जल गए। जब सब कुछ शांत हुआ तो मौके पर हर ओर शव ही नजर आए। परिजनों को सूचना मिलने पर मौके पर पहुंचे तो मन में किसी अनिष्ट की आशंका तो थी, लेकिन यह दुआ भी थी कि काश लाशों के इस ढेर में अपना कोई ना हो। बड़ी मुश्किल से आग पर काबू पाया गया। सांचौर से दमकल पहुंची उससे पहले लोगों ने काफी प्रयास किए, लेकिन लपटें इतनी तेज थी कि पास ही नहीं जाया जा सका। दमकल पहुंचने के बाद आग को बुझाया गया। जैसे ही लपटें शांत हुई मौके पर जोर से चीत्कारें गूंज उठी। मौके पर मौजूद लोग लाशें देखकर चीत्कार उठे। इतना भयावह दृश्य। लगा जैसे ईश्वर ने क्रूर मजाक किया हो। बस के आगे, पीछे, अंदर सीटों पर और नीचे जले हुए शव पड़े थे। कुछ शव सड़क पर कुछ दूरी पर मिले। मनों बचने के लिए भागे हों, लेकिन फिर दम तोड़ दिया। शव इतनी बुरी तरह से झुलसे हुए थे कि उन्हें पहचाना भी नहीं जा सका। रिश्तेदार और परिजन मौके पर काफी देरी से पहुंच पाए। जब शवों को देखा तो बिलख पड़े। हर कोई यही दुआ करता रहा कि काश इन लाशों में हमारा कोई ना हो, लेकिन फिर अपनों की आशंका से खुद भी बेसुध से हो गए। पूरे घटना स्थल पर हर ओर चीत्कार सुनाई दे रही थी। हादसे में मृतक और घायलों में से अधिकांश लोग बाड़मेर जिले के धोरीमन्ना, बांड और रामजी का गोल गांव के रहने वाले हैं। ये लोग अपने दैनिक कार्यों से सांचौर आते हैं और इस बस से वापस लौट जाते हैं। सिवाडा गांव के निकट शुक्रवार शाम हुए हादसे में बस में सवार यात्री आग की लपटों से घिर गए और उन्हें बस से बाहर निकलने का रास्ता तक नहीं मिला। आखिरकार एक-एक कर 19 जिंदगियां दम तोड़ गई। हादसे के बाद घटनास्थल पर रुदन और चीत्कार का माहौल नजर आया


आंखो-देखी


मदद मांगते रहे आग से लिपटे यात्री




मैं बस की चौथी सीट पर बैठा पास वाले से बातचीत कर रहा था। मैंने अपने पैर आगे की सीट से सटाकर रखे हुए थे। तभी अचानक विस्फोट हुआ। बस की टक्कर होने से मैं सीट के बीच में फंस गया। पास वाला भी आगे की सीट से टकरा गया जिससे वह बेहोश हो गया। घटना के समय मेरा मुंह आगे की सीट से दब गया। विस्फोट के बाद बस में आग लगती हुई दिखाई दे रही थी। साथ ही घटना के बाद पीछे के लोग आगे की तरफ आने लगे। मैंने बस जलती देखकर जैसे-तैसे हिम्मत बांधी और खिड़की का कांच तोड़ा। इसके बाद पास में बैठे व्यक्ति को खिड़की से बाहर की तरफ फेंक दिया और मैं भी बस से कूद गया। इसके बाद पूरी बस धू धूंकर जलने लगी। बस में मौजूद लोगों के चिल्लाने की आवाजें आ रही थी। वे मदद के लिए चिल्ला रहे थे। जिंदा इंसान आग से लिपटे हुए बस में इधर उधर दौड़ रहे थे, लेकिन हम कुछ नहीं कर पाए। देखते ही देखते उन्होंने दम तोड़ दिया।

हरिंगाराम विश्नोई, कोटड़ा, बस यात्री

यह हुए घायल



सिवाड़ा के पास बस ट्रेलर में हुए हादसे में लाभूराम (50) पुत्र भैराराम जाट निवासी पहाड़पुरा बरवाला, गोपाराम (36) पुत्र बेचराराम जाट गांधीनगर बाड़मेर, किशोरसिंह (32) पुत्र तेजाराम जाट खड़ी रामसर, सिरिया देवी (53) पत्नी लाभराम जाट निवासी बाखासर, रावताराम (60) पुत्र खेदाराम पुरोहित निवासी आमली सांचौर, लिखमाराम (30) पुत्र प्रतापाराम जाट गुड़ामालानी, हाजीमली (60) पुत्र ईलियास निवासी देरासर, सवाईदान (30) पुत्र हरिदान चारण निवासी छोटा ईटादा, गेमराराम (50) पुत्र गंगाराम जाट हाथीतला, हरिराम (42) पुत्र श्रीराम निवासी धोरिमन्ना, धोली (30) पत्नी जगदीश विश्नोई धोरीमन्ना, झमकू (45) पत्नी हरिराम विश्नोई निवासी कोजा, मीरा (40) पत्नी तुलछाराम जटिया लीलसर चौहटन, कंचन (18) पुत्री तुलछाराम जटिया निवासी लीलसर, मीनाक्षी पुत्री मसराराम जटिया हरियाली सांचौर, हरलाल (35) पुत्र सुखराम विश्नोई सिवाना, पीराराम (70) पुत्र जांवताराम मेघवाल पीपराली, रमेश (22) पुत्र चंदाराम मेघवाल खुर्द सिढ़ा, हरुराम (55) पुत्र सोनाराम निवासी पिठड़ा, भंवराराम (20) पुत्र हरूराराम मेघवाल, तुलछाराम (45) पुत्र नेनूराम जटिया निवासी लीलासर, पदमाराम (40) पुत्र सगतसिंह निवासी लांगेरा, अमरूदेवी (30) पत्नी गोरधनराम निवासी पीपराली, जेठी (35) देवी पत्नी किशनाराम सोनी निवासी बासड़ाऊ, किशनाराम (40) पुत्र पुरखाराम सोनी निवासी बासड़ाऊ, डालूराम (70) पुत्र नारणाराम जाट निवासी ढिमणी गुड़ामालानी, श्रीराम (69) पुत्र केशरीमल खत्री निवासी धोरीमन्ना, बाबूलाल (40) पुत्र धर्माराम विश्नोई निवासी विरावा चितलवाना, हरिराम (46) पुत्र ठाकराराम विश्नोई निवासी कोजा धोरीमन्ना, बबरी (40) पत्नी करनाराम जाट निवासी रताऊ, गोरखाराम (20) पुत्र अर्जुनराम निवासी सोभोला का गोलिया, रमेश (22) पुत्र चन्दाराम निवासी मिठड़ा, भंवराराम (20) पुत्र हरिराम मेघवाल निवासी मिठड़ा, पारसी (35) पत्नी देवीलाल निवासी चैनपुरा, मदनपुरी (50) पुत्र रावतपुरी गोस्वामी निवासी बायतू, रूगनाथ राम (36) पुत्र वगताराम विश्नोई निवासी विरावा चितलवाना, हनुमानाराम (35) पुत्र लालाराम जाट निवासी राडेरिया, कानाराम (25) पुत्र भाखराराम मेघवाल निवासी डावल, कमल (30) पत्नी रूगनाथ विश्नोई निवासी वाड़ाभाड़वी, लहरा देवी (22) पत्नी कानाराम मेघवाल निवासी डावल, कालाराम (65) पुत्र केहराराम जाट राडेरिया गंभीर रूप से घायल हो गए। जिन्हें उपचार के लिए नगर के निजी व सरकारी अस्पतालों में भर्ती करवाया गया। गंभीर रूप से घायल हीरालाल पुत्र श्रीराम खत्री निवासी धोरीमन्ना, श्रीराम पुत्र केसरीमल खत्री निवासी धोरीमन्ना को गंभीर रूप से घायल होने पर गुजरात रेफर किया गया।

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