मंगलवार, 24 अप्रैल 2012

ब्रह्मोचार मंत्र से ब्रह्ममय हुआ आसोतरा धाम

ब्रह्मोचार मंत्र से ब्रह्ममय हुआ आसोतरा धाम

बाड़मेर बालोतरा ब्रह्मा मंत्र के जयकारों की गूंज, चारों ओर भक्तों की भीड़, आकर्षक रोशनी से सजा ब्रह्मधाम व विधि-विधान से यज्ञ करते यजमान, कुछ ऐसा ही दृश्य था सोमवार को ब्रह्मधाम आसोतरा परिसर का। ब्रह्मर्षि श्री खेतेश्वर जन्म शताब्दी महोत्सव के मौके पर यहां विराट श्री ब्रह्मात्मक महायज्ञ शतकुंडीय सोमवार को विधिवत रूप से पूजा-अर्चना के साथ भक्तों की अपार भीड़ के साथ शुरू हो गया। यह शतकुंडीय ब्रह्मात्मक महायज्ञ 29 अप्रैल तक चलेगा।

ब्रह्माजी का मंदिर एवं राजपुरोहित समाज विकास न्यास ब्रह्मधाम आसोतरा के तत्वावधान में ब्रह्मा सावित्री सिद्ध पीठाधीश्वर तुलसाराम महाराज के सानिध्य में आयोजित इस महोत्सव के प्रथम दिन यज्ञ देव की पूजा, वेद व पुराणों की पूजा एवं वैदिक विधि विधान से ही ब्रह्मात्मक यज्ञा का श्रीगणेश हुआ। यजमानों ने यज्ञशाला की परिक्रमा के बाद अपनी-अपनी वेदिका पर विराजमान हुए। काशी से आए विद्वान आचार्य ने यज्ञ के सभी कार्यक्रम आयोजित करवाए। श्री खेतेश्वर भगवान की जन्म स्थली खेड़ा ग्राम से लाई गई श्री खेतेश्वर ब्रह्म ज्योति के द्वारा यज्ञ कुंडो में अग्नि प्रज्जवलित की गई।

राजपुरोहित यज्ञोपवीत संस्कार

इस अवसर पर राजपुरोहित यज्ञोपवीत संस्कार का आयोजन भी शुरू हुआ। ग्यारह सौ राजपुरोहित साधकों की ओर से 11 करोड़ श्री ब्रह्मा महामंत्र का जप अनुष्ठान शुरू हुआ। इस अवसर पर ग्यारह सौ साधकों को विद्वान आचार्यों की ओर से इस अवसर पर उपनयन संस्कार प्रायश्चित संकल्प दशविधि स्नान का आयोजन किया गया।

वेदांताचार्य ध्यानाराम महाराज ने बताया कि ब्रह्मधाम पर पहुंचे पथमेड़ा गोधाम के दत्तशरणानंद महाराज, कबीर आश्रम बालोतरा के महामंडलेश्वर निर्मलदास महाराज, महामंडलेश्वर महेश्वरानंद, महामंडलेश्वर जसराज पुरी, रामानंद महाराज उमरलाई, बालदास महाराज जैतपुर, चेतनानंद डंडाली, बालकनाथ गादेसरा, नारायणदास बालोतरा, रामेश्वरनाथ हरिद्वार, राघवदास महाराज समेत संत-महात्माओं का गादीपति तुलछाराम महाराज की ओर से अगुवानी की गई। उन्होंने बताया कि प्रतिदिन सवेरे 7 बजे 1 बजे तक ब्रह्मात्मक महायज्ञ, संस्कार शाला एवं दोपहर 3.30 से 7.30 बजे तक ब्रह्मात्मक महायज्ञ का आयोजन होगा। सोमवार को पूर्व सांसद मानवेंद्रसिंह भी ब्रह्मधाम पहुंचे और गादीपति से आशीर्वाद लिया।

ब्रह्म भागवत का पाठ शुरू

इस अवसर पर ब्रह्मा भागवत कथा का वाचन करते हुए व्यास पीठ पर विराजित वेदांताचार्य ध्यानाराम महाराज ने कहा कि ब्रह्मा, विष्णु, महेश ही इस जीव जगत की सृष्टि को चलाते है। विष्णु उसका पालन कराते है और शिव सृष्टि का संहार करने वाले हैं। उन्होंने कहा कि हमारे जीवन में सत्संग से परिवर्तन आता है।

वह पुराणों के महात्म्य से हमें श्रवण करने को मिलता है। यह विश्व के कल्याण की कामना को लेकर किया जा रहा है। भागवत कथा के दौरान तुलछाराम महाराज के संदेश का वाचन किया गया।

आसोतरा ब्रह्मधाम में ब्रह्मात्मक महायज्ञ शतकुंडीय का आयोजन शुरू, ब्रह्मर्षि श्री खेतेश्वर जन्म शताब्दी महा महोत्सव को लेकर दुल्हन की तरह सजा ब्रह्मधाम

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